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![SC: धर्मांतरण के आरोपी मौलाना सिद्दीकी को राहत, भाई के अंतिम संस्कार में शामिल होने यूपी जाने की मिली अनुमति Supreme Court gives Relief to Maulana Siddiqui permission to go UP to attend brother funeral](https://staticimg.amarujala.com/assets/images/2021/09/22/750x506/kaleem-siddique_1632293855.jpeg?w=414&dpr=1.0)
मौलाना कलीम सिद्दीकी।
– फोटो : amar ujala
विस्तार
धर्मांतरण रैकेट के आरोपी मौलाना कलीम सिद्दीकी की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। आरोपी मौलाना ने मांग की थी कि वे अपने भाई के अंतिम संस्कार में शामिल होना चाहते हैं। इसलिए, जमानत शर्तों में बदलाव किए जाए, जिसे सुप्रीम कोर्ट ने मान लिया है और उन्हें भाई के अंतिम संस्कार में शामिल होने के लिए राहत दी है। हालांकि, उत्तरप्रदेश सरकार ने कलीम सिद्दीकी की जमानत रद्द करने की मांग की है।
राजनीतिक और सामाजिक गतिविधियों में शामिल होने पर अब भी रोक
दरअसल, मौलाना कलीम सिद्दीकी के भाई अलीम सिद्दीकी की मौत हो गई है। भाई के अंतिम संस्कार में शामिल होने के लिए मौलाना मुजफ्फरनगर जिले स्थित फूलत गांव जाना चाहता है। इसके लिए सर्वोच्च अदालत राजी हो गया। हालांकि, सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि इस दौरान वह किसी भी राजनीतिक और सामाजिक गतिविधियों में शामिल नहीं हो सकता। कोर्ट का कहना है कि देश में धर्म परिवर्तन किया जा सकता है। लेकिन प्रलोभन, बल या धोखाधड़ी से धर्म परिवर्तन कराना कानून का उल्लंघन है।
2021 में पुलिस ने मौलाना को किया गिरफ्तार
मौलाना सिद्दीकी पर आरोप है कि वह धर्मांतरण रैकेट चलाता है। उसने उत्तर प्रदेश में 1000 से अधिक लोगों का धर्म परिवर्तन कराया है। रैकेट चलाने के आरोप में उत्तरप्रदेश पुलिस ने सितंबर 2021 में मौलाना को गिरफ्तार किया था। वह भगौड़े जाकिर नाइक को अपना आइडियल मानता है। मौलाना कलीम सिद्दीकी पर आरोप है कि वह अपने साथियों के साथ देश भर में धर्मांतरण का सिंडिकेट चलाता था। इसी मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट ने बाद में मौलाना कलीम सिद्दीकी को जमानत दे दिया था। हालांकि, उच्च न्यायालय ने जमानत पर रिहा करते वक्त फैसला दिया था कि वह दिल्ली-एनसीआर के बाहर बगैर अनुमति नहीं जा सकता। हालांकि, अब सुप्रीम कोर्ट से राहत मिलने के बाद कलीम मुजफ्फरनगर स्थित अपने गांव फूलत जा सकता है।
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