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![G-20 Summit: राष्ट्राध्यक्षों की सुरक्षा के लिए दिल्ली किले में तब्दील, कल आ रहे हैं अमेरिकी राष्ट्रपति बाइडन Delhi turned into a fort for the security of heads of state, US President Biden is coming on sep 7](https://staticimg.amarujala.com/assets/images/2023/02/22/joe-biden-in-poland_1677005500.jpeg?w=414&dpr=1.0)
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन।
– फोटो : सोशल मीडिया
विस्तार
जी-20 सम्मेलन में शिरकत करने आ रहे सभी राष्ट्राध्यक्षों की सुरक्षा के मद्देनजर दिल्ली को किले में तब्दील कर दिया गया है। अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन सात सितंबर को दिल्ली पहुंचेंगे। इससे पहले उनके ठहरने से लेकर रूट तक को सुरक्षित किया गया है। इसमें अमेरिकी एजेंसियां भारतीय एजेंसियों के साथ काम कर रही हैं।
अमेरिकी सिक्योरिटी एजेंट्स ने 3 महीने से नई दिल्ली में डेरा डाल रखा है।अमेरिकी राष्ट्रपति चार दिन भारत में रहेंगे। इस दौरान उनके सिक्योरिटी प्रोटोकॉल को लेकर खास तैयारी की गई है। बताया जा रहा है कि अमेरिकी राष्ट्रपति आईटीसी मौर्या होटल में रुकेंगे। अमेरिकी एजेंसियों ने होटल के कमरों के डिवाइसेज बदले हैं और वहां खुद के डिवाइस लगा दिए हैं। इसके साथ ही होटल के कमरों की खिड़कियों पर बुलेट प्रूफ प्लास्टिक लगाया गया है।
होटल के तीन फ्लोर पर सीक्रेट सर्विस के एजेंट रहेंगे
बाइडन के भारत प्रवास के दौरान मौर्या होटल के आसपास की पार्किंग बैन कर दी जाएगी। उनका रास्ता ऐसा तय किया गया है, जहां किसी की भी नजर न पड़े। उनके रूट पर पार्किंग बिल्कुल नहीं होगी। मौर्या के तीन फ्लोर पर सीक्रेट सर्विस के एजेंट मौजूद होंगे। साथ ही बाइडन के लिए जो रूट निर्धारित किया गया है, उस पर स्पेशल कमांडो को तैनात किया गया है। कुछ ऐसी व्यवस्था की गई है कि अगर जरूरत पड़ी तो अमेरिकी राष्ट्रपति को उनकी गाड़ी के सहित एयर लिफ्ट किया जा सकता है और उन्हें सुरक्षित ले जाया जाएगा।
बाथरूम में भी अकेले नहीं जाएंगे
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन का सिक्योरिटी प्रोटोकॉल इतना चुस्त है कि उन्हें बाथरूम में भी अकेला नहीं छोड़ा जाता है। बाथरूम में सीक्रेट सर्विस के एजेंट अमेरिकी राष्ट्रपति के साथ होते हैं। अमेरिकी सीक्रेट सर्विस के एजेंट हर उसे रास्ते पर स्नीफर डॉग के साथ चेकिंग करते हैं, जहां से राष्ट्रपति गुजरेंगे। इसके साथ ही उस रूट पर किसी भी गाड़ी के पार्किंग की अनुमति नहीं होती।
अमेरिकी राष्ट्रपति के भारत पहुंचने से पहले एजेंसी ने हर लेवल पर सुरक्षा कड़ी की हुई है। अमेरिकी एजेंसियां दिल्ली या उसके आसपास के अस्पतालों से मेंटल रोगियों के बारे में भी जानकारी ले रही हैं कि उन्हें क्यों और कब छोड़ा गया है। अमेरिकी राष्ट्रपति के सिक्योरिटी प्रोटोकॉल के अनुसार मेंटल हॉस्पिटल के रोगियों को एक पोटेंशियल थ्रेट माना जाता है।
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